SAMPLE QUESTION PAPER - 2
Hindi B (085)
Class X (2024-25)
निर्धारित समय: 3 hours अधिकतम अंक: 80
सामान्य निर्देश:
इस प्रश्नपत्र में चार खंड हैं - क, ख, ग और घ
खंड क में अपठित गदयांश से प्रश्न पूछे गए हैं, जिनके उत्तर दिए गए निर्देशों का पालन करते
हुए दीजिए।
खंड ख में व्यावहारिक व्याकरण से प्रश्न पूछे गए हैं, आंतरिक विकल्प भी दिए गए हैं।
खंड ग पाठ्यपुस्तक पर आधारित है, निर्देशानुसार उत्तर दीजिए।
खंड घ रचनात्मक लेखन पर आधारित है आंतरिक विकल्प भी दिए गए हैं।
प्रश्न पत्र में कु ल 16 प्रश्न हैं, सभी प्रश्न अनिवार्य है।
यथासंभव सभी खंडों के प्रश्नों के उत्तर क्रमशः लिखिए।
खंड क - अपठित बोध
1. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए। [7]
मालवीय जी के नाम का विशेषण 'महामना' अपने-आप में उनके व्यक्तित्व के अनेक
पहलुओं को स्पष्ट कर देता है। उनके मन में विशेषकर गरीबों व शोषितों के लिए अतिरिक्त
स्थान था। बापू ने अपनी 'आत्मकथा' में मालवीय जी को 'भारतभूषण' कहा है। विशालता और
रसमयता दो ऐसे गुण उनमें थे, जो उन्हें अपने समय के अन्य महापुरुषों से अलग करते हैं।
बाप ने लिखा है कि "जब कार्य करने के लिए आया, तो पहले लोकमान्य तिलक के पास गया।
वे मुझे हिमालय से ऊँ चे लगे। मैंने सोचा, हिमालय पर चढ़ना मेरे लिए संभव नहीं है। फिर मैं
श्री गोखले के पास गया। वे मुझे सागर के समान गहरे लगे। मुझे लगा कि मेरे लिए इतनी
गहराई में पैठना संभव नहीं है। अंत में, मैं मालवीय जी के पास गया। मुझे वे जल की स्फटिक
निर्मल धारा के समान लगे और मैंने उस पवित्र धारा में गोता लगाने का निश्चय किया।"
1. मालवीय जी को मिले दो उपनाम (विशेषण) लिखिए। (1)
(क) मालवीय जी, भारतभूषण
(ख) महामना, भारतभूषण
(ग) महामना, लोकमान्य
(घ) महामना, निर्मल
2. 'पवित्रधारा' में पवित्र शब्द व्याकरण की दृष्टि से क्या है? (1)
(क) संज्ञा
(ख) क्रिया
(ग) विशेषण
(घ) सर्वनाम
3. मालवीय जी को भारत भूषण किसने कहा था ? (1)
(क) गांधी जी ने
(ख) तिलक जी ने
(ग) गोखले जी ने
(घ) आम लोगों ने
4. महामना मालवीय जी अन्य नेताओं से भिन्न क्यों थे? (2)
5. गोखले की अपेक्षा मालवीय जी ने गाँधी को क्यों प्रभावित किया? (2)
2. निम्नलिखित गद्यांशों को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर लिखिए- [7]
अनुशासन के अभाव में समाज में अराजकता और अशांति का साम्राज्य होता है। वन्य पशुओं
में अनुशासन का कोई महत्त्व नहीं है, इसी कारण उनका जीवन असुरक्षित, आतंकित एवं
अव्यवस्थित रहता है। सभ्यता और संस्कृ ति के विकास के साथ-साथ जीवन में अनुशासन का
महत्त्व भी बढ़ता गया। आज के वैज्ञानिक युग में तो अनुशासन के बिना मनुष्य का कार्य भी
नहीं चल सकता। कु छ व्यक्ति सोचते हैं कि अब मानव, सभ्य और शिक्षित हो गया है, उस पर
किसी भी प्रकार के नियमों का बंधन नहीं होना चाहिए। वह स्वतंत्र रूप से जो भी करे , उसे
करने देना चाहिए, लेकिन यदि व्यक्ति को यह अधिकार दे दिया जाए तो वन्य जीवन जैसी
अव्यवस्था आ जाएगी। मानव, मानव ही है, देवता नहीं। उसमें सुप्रवृत्तियाँ और कु प्रवृत्तियाँ
दोनों ही होती हैं। मानव सभ्य तभी तक रहता है जब तक वह अपनी सुप्रवृत्तियों की आज्ञा के
अनुसार कार्य करे । इसलिए मानव के पूर्ण विकास के लिए कु छ बंधनों और नियमों का होना
आवश्यक है।
1. मानव कब सभ्य कहा जा सकता है? (1)
(क) जब वह अपनी सुप्रवृत्तियों के अनुसार कार्य करे
(ख) जब वह अपनी मर्ज़ी के अनुसार कार्य करे
(ग) जब वह अपने लिए कार्य करे
(घ) जब वह अपनी सुविधा के अनुसार कार्य करे
2. अनुशासन के अभाव में समाज की क्या स्थिति होगी? (1)
(क) समाज में शांति की स्थिति उत्पन्न हो जाएगी
(ख) समाज में जागरूकता उत्पन्न हो जाएगी
(ग) समाज में अराजकता और अशांति की स्थिति उत्पन्न हो जाएगी
(घ) समाज तेज़ी से उन्नति करे गा
3. मानव में निहित प्रवृत्तियाँ कौन-कौन सी हैं? (1)
(क) लालच और बुराई
(ख) अधर्म और धर्म
(ग) आदर और अनादर
(घ) सुप्रवृत्तियाँ और कु प्रवृत्तियाँ
4. अनुशासन के अभाव में पशुओं का जीवन कै सा होता है? (2)
5. कु छ लोग अनुशासन को उचित क्यों नहीं मानते? (2)
खंड ख - व्यावहारिक व्याकरण
3. निम्नलिखित वाक्यों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए। [4]
i. सूखा पड़ने के कारण पेड़ों से पत्तियाँ एक-एक कर गिरने लगी। इस वाक्य में क्रिया-
विशेषण पदबंध छाँटिये।
ii. जीवन डिब्बेनुमा छोटे घरों में सिमटने लगा है। इस वाक्य में संज्ञा पदबंध कौन सा है?
iii. इतनी मेहनत से हमने पेड़ लगाए थे शरारती बच्चों ने सब उखाड़ दिए। रे खांकित पदबंध
का नाम लिखिए।
iv. लकड़ी की बड़ी अलमारी से पुस्तक ले आओ। इस वाक्य में विशेषण पदबंध कौन-सा है?
v. आसमान में उड़ते पंछी सभी को अच्छे लगते हैं। रे खांकित पदबंध का नाम लिखिए।
4. नीचे लिखें वाक्यों में से किन्हीं चार वाक्यों का निर्देशानुसार रचना के आधार पर वाक्य [4]
रूपांतरण कीजिए-
i. पिताजी की इच्छा के कारण मुझे छात्रावास में जाना पड़ा। (संयुक्त वाक्य में)
ii. वह लड़का गाँव जाकर बीमार हो गया। (मिश्र वाक्य में)
iii. उसने ईश्वर से कु छ माँगने की मुद्रा में अपने हाथ ऊपर उठाए। (मिश्र वाक्य में)
iv. गायें और बकरियाँ भी घास खा रही हैं। (संयुक्त वाक्य में)
v. हरिहर काका ने ठाकु रबारी के महंत, पुजारी और साधुओं की जो काली करतूतें थीं उनका
पर्दाफाश करना शुरू किया। (सरल वाक्य में)
5. निर्देशानुसार किन्हीं चार प्रश्नों का उत्तर दीजिए और उपयुक्त समास का नाम भी लिखिए। [4]
i. चरणकमल (विग्रह कीजिए)
ii. चिड़ीमार ((विग्रह कीजिए)
iii. आत्मा पर विश्वास (समस्त पद लिखिए)
iv. चक्र को धारण करने वाला (समस्त पद लिखिए)
v. नीला है जो गगन (समस्त पद लिखिए)
6. निम्नलिखित में से किन्हीं चार मुहावरों का वाक्य में प्रयोग इस प्रकार कीजिए कि उनका [4]
आशय स्पष्ट हो जाए:
i. जी-तोड़ मेहनत करना
ii. चैन की साँस लेना
iii. नौ-दो ग्यारह होना
iv. घी के दिए जलाना
v. आँख खुल जाना
खंड ग - गद्य खंड (पाठ्यपुस्तक)
7. अनुच्छे द को ध्यानपूर्वक पढ़कर निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिये: [5]
रावण भूमंडल का स्वामी था। ऐसे राजाओं को चक्रवर्ती कहते हैं। आजकल अंग्रेजों के राज्य
का विस्तार बहुत बढ़ा हुआ है, पर इन्हें चक्रवर्ती नहीं कह सकते। संसार में अनेक राष्ट्र
अंग्रेजों का आधिपत्य स्वीकार नहीं करते, बिलकु ल स्वाधीन हैं। रावण चक्रवर्ती राजा था,
संसार के सभी महीप उसे कर देते थे। बड़े-बड़े देवता उसकी गुलामी करते थे। आग और
पानी के देवता भी उसके दास थे, मगर उसका अंत क्या हुआ? घमंड ने उसका नाम-निशान
तक मिटा दिया, कोई उसे एक चुल्लू पानी देने वाला भी न बचा। आदमी और जो कु कर्म चाहे
करे , पर अभिमान न करे , इतराये नहीं। अभिमान किया और दीन-दुनिया दोनों से गया।
(i) रावण कौन था?
क) अयोध्या का राजा ख) भूमंडल का स्वामी
ग) देवताओं का दास घ) अंग्रेजों का मददगार
(ii) रावण चक्रवर्ती सम्राट क्यों था?
क) सभी विकल्प सही हैं ख) क्योंकि आग और पानी के देवता
भी उसके दास थे
ग) क्योंकि संसार के सभी राजा उसे घ) क्योंकि बड़े-बड़े देवता उसकी
कर देते थे गुलामी करते थे
(iii) किसने रावण का नामो-निशान मिटा दिया?
क) लालच ने ख) श्री राम ने
ग) घमंड ने घ) धन-दौलत ने
(iv) नामो-निशान मिटाना का अर्थ है-
क) सब कु छ नष्ट करना ख) नाम लिखकर मिटाना
ग) कहीं का न रहना घ) इनमें से कोई नहीं
(v) कौन, किसे रावण का उदाहरण देकर समझा रहा है?
क) लेखक, पाठक को ख) राम, रावण को
ग) भाई साहब, लेखक को घ) पाठक, श्रोता को।
8. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में दीजिए: [6]
(i) पुलिस द्वारा कलकत्ता में आंदोलनकारियों पर लाठीचार्ज करने और उन्हें लॉकअप में [2]
रखने के बाद भी उनका उत्साह ठं डा क्यों नहीं पड़ रहा था? 'डायरी का एक पन्ना' पाठ
के आधार पर लिखिए।
(ii) झेन की देन पाठ में लेखक के मित्र द्वारा बताए गए मानसिक रोग के कारणों पर अपनी [2]
टिप्पणी कीजिए।
(iii) अफ़गानिस्तान के बादशाह को हिंदुस्तान पर हमला करने के लिए वज़ीर अली ने क्यों [2]
बुलाया?
(iv) हिंदी फ़िल्म जगत में एक सार्थक और उद्देश्यपरक फ़िल्म बनाना कठिन और जोखिम [2]
का काम है। तीसरी कसम के शिल्पकार शलेन्द्र पाठ के आधार पर स्पष्ट कीजिए।
खंड ग - काव्य खंड (पाठ्यपुस्तक)
9. अनुच्छे द को ध्यानपूर्वक पढ़कर निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिये: [5]
'मनुष्य मात्र बंधु है' यही बड़ा विवेक है,
पुराणपुरुष स्वयंभू पिता प्रसिद्ध एक है।
फलानुसार कर्म के अवश्य बाह्य भेद हैं,
परं तु अंतरै क्य में प्रमाणभूत वेद हैं।
अनर्थ है कि बंधु ही न बंधु की व्यथा हरे ,
वही मनुष्य है कि जो मनुष्य के लिए मरे ।।
(i) मनुष्य मात्र बंधु- है से क्या तात्पर्य है?
क) मनुष्य मात्र के अलग-अलग ख) मनुष्य मात्र को अलग-अलग
कर्म होना समझना
ग) मनुष्य मात्र के द्वारा सहयोग घ) मनुष्य मात्र को परस्पर भाई-बंधु
करना समझना
(ii) अनर्थ क्या है?
क) भाई-भाई में घृणा का भाव न ख) भाई का भाई से अलगाव
होना
ग) भाई का भाई से लगाव घ) भाई-भाई में सहानुभूति का भाव
(iii) प्रत्येक मनुष्य अपना बंधु कै से है?
क) एक देश में जन्म लेने से ख) एक गाँव में जन्म लेने से
ग) एक परमात्मा की संतान होने से घ) एक परिवार में जन्म लेने से
(iv) मनुष्य-मात्र में भेद क्यों उत्पन्न होता है?
क) भिन्न खान-पान के कारण ख) कर्मों की भिन्नता के कारण
ग) भिन्न देशों में जन्म के कारण घ) भिन्न जलवायु के कारण
(v) कवि ने सभी मनुष्यों को क्या माना है ?
क) मित्र - शत्रु ख) दोस्त - शत्रु
ग) भाई - बंधु घ) भाई - शत्रु
10. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में दीजिए: [6]
(i) मीरा हरि से अपनी पीड़ा दू र करने के लिए उन्हें क्या-क्या याद दिलाती हैं? [2]
(ii) पर्वत प्रदेश में पावस कविता के आधार पर बताइए कि सहत्र दृग-सुमन का क्या अर्थ [2]
है। कवि ने इसका प्रयोग किसके लिए किया है और क्यों?
(iii) फ़तह का जश्न इस जश्न के बाद है - कर चले हम फिदा कविता से उद्धृत प्रस्तुत [2]
पंक्ति में ‘इस जश्न' से कवि का क्या आशय है और उसे बाद में मनाने के पीछे क्या
कारण है?
(iv) भाव स्पष्ट कीजिए- [2]
नत शिर होकर सुख के दिन में
तव मुख पहचानूँ छिन-छिन में।
खंड ग - संचयन (पूरक पाठ्यपुस्तक)
11. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 50-60 शब्दों में दीजिए: [6]
(i) हरिहर काका कहानी वृद्धों के प्रति संवेदनहीन होते समाज की कथा है। इस कथन को [3]
कहानी के आधार पर उदाहरण सहित सिद्ध कीजिए।
(ii) सपनों के -से दिन पाठ के आधार पर तब के स्कू ली बच्चों के पहनावे तथा खेल-कू द की [3]
तुलना आज के स्कू ली बच्चों से कीजिए। दोनों में से आप किसे अच्छा समझते हैं और
क्यों?
(iii) आपके विचार से मित्रता की कौन-कौन सी कसौटियाँ हो सकती हैं? टोपी शुक्ला पाठ [3]
के संदर्भ में तीन बिंदु लिखिए।
खंड घ - रचनात्मक लेखन
12. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 120 शब्दों में अनुच्छे द लिखिये: [5]
(i) आज़ादी अभी अधूरी है विषय पर दिए गए संके त बिंदुओं के आधार पर लगभग 80 से [5]
100 शब्दो में अनुच्छे द लिखिए।
आज़ादी का महत्त्व
पूर्ण आज़ादी से तात्पर्य
आज़ादी की सुरक्षा कै से?
(ii) सौर ऊर्जा: सस्ती और स्वच्छ ऊर्जा विषय पर दिए गए संके त बिंदुओं के आधार पर [5]
अनुच्छे द लिखिए।
भूमिका, स्रोत, देश के लिए क्यों आवश्यक, लाभ
(iii) जैविक (ऑर्गेनिक) खेती : एक कदम प्रकृ ति की ओर विषय पर दिए गए संके त [5]
बिंदुओं के आधार पर अनुच्छे द लिखिए।
समय की माँग
सकारात्मक प्रभाव
कठिनाइयाँ, सुझाव
13. स्वास्थ्य अधिकारी को 80-100 शब्दों में पत्र लिखकर निवेदन कीजिए कि कीटनाशक और [5]
नकली रं गों से मुक्त सब्ज़ी और फल उपलब्ध करवाने के लिए मंडी में पर्याप्त जाँच की
व्यवस्था करें ।
अथवा
आप सायरा/आसिफ हैं। यातायात-जाम से छु टकारा पाने के सुझाव देते हुए किसी दैनिक
समाचार-पत्र के संपादक को लगभग 100 शब्दों में पत्र लिखिए।
14. आप भूपेन्द्र नौटियाल/भूपाली नौटियाल हैं और अनुग्रह माध्यमिक विद्यालय के विद्यार्थी [4]
परिषद् के /की खेल सचिव हैं। विद्यालय में आयोजित होने वाले फु टबॉल प्रशिक्षण शिविर का
विवरण देते हुए लगभग 80 शब्दों में एक सूचना तैयार कीजिए।
अथवा
छु ट्टी के बाद स्कू ल की बस से घर जाते हुए आपका एक बैग बस में ही छू ट गया। बस का रूट नं.
और अपने बैग का विवरण देते हुए विद्यालय के सूचना पट्ट पर लगाने के लिए एक सूचना लगभग
60 शब्दों में लिखिए।
15. आपके क्षेत्र में एक नया विद्यालय खुला है जिसमें आगामी सत्र में प्रवेश लेने वाले स्थानीय [3]
बच्चों को दाखिले में विशेष छू ट दी जाएगी। विद्यालय के प्रचार-प्रसार के लिए लगभग 40
शब्दों में एक आकर्षक विज्ञापन तैयार कीजिए।
अथवा
कोई कं पनी जैविक फल-सब्जी बाज़ार में लाना चाहती है, उसके प्रचार-प्रसार के लिए एक
विज्ञापन लगभग 40 शब्दों में तैयार कीजिए।
16. आप काव्या/महेश हैं। आपके क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति पहले अनियमित थी। उसमें अब पर्याप्त [5]
सुधार हुआ है। विद्युत आपूर्ति निगम के महानिदेशक को धन्यवाद ज्ञापन के लिए लगभग
80 शब्दों में एक ई-मेल लिखिए।
अथवा
यदि मैं पुस्तक होती विषय पर लगभग 100-120 शब्दों में एक लघुकथा लिखिए।
Solution
SAMPLE QUESTION PAPER - 2
Hindi B (085)
Class X (2024-25)
खंड क - अपठित बोध
1. 1. (ख) महामना, भारतभूषण
2. (ग) विशेषण
3. (क) गांधी जी ने मालवीय जी को भारत भूषण कहा था।
4. विशालता और रसमयता जैसे गुणों के कारण महामना मालवीय जी अन्य नेताओं से भिन्न थे।
5. मालवीय की पवित्रता और सादगी, जो कि जल की स्फटिक निर्मल धारा के समान थी, के कारण
गांधी जी को गोखले की अपेक्षा मालवीय जी ने प्रभावित किया।
2. 1. (क) मानव तभी सभ्य कहा जा सकता है जब तक वह अपनी सुप्रवृत्तियों की आज्ञा के अनुसार
सबकी भलाई के लिए कार्य करें । अत: कु छ बंधनों और नियमों का पालन करके ही मानव समाज
का विकास कर सकता है।
2. (ग) अनुशासन का अर्थ होता है नियम -नीतियों का पालन करना। इसके पालन करने से मानव
जीवन उन्नति को प्राप्त करता है जबकि इसके अभाव में समाज में अराजकता और अशांति की
स्थिति उत्पन्न हो जाएगी और चारों ओर जंगलराज जैसी स्थिति उत्पन्न हो जाने से लोग असुरक्षित
और अव्यवस्थित महसूस करें गे।
3. (घ) मानव में निहित प्रवृत्तियाँ सुप्रवृत्तियाँ और कु प्रवृत्तियाँ हैं, जिनके प्रभाव से वह अच्छा आचरण
करता है और बुरा भी।
4. वन्य पशुओं में अनुशासन का कोई महत्व नहीं होता, जिसके कारण उनका जीवन असुरक्षित,
आतंकित एवं अव्यवस्थित रहता है।
5. कु छ लोगों का मानना है कि मानव के सभ्य और शिक्षित हो जाने के कारण उस पर किसी प्रकार
के नियमों का बंधन नहीं होना चाहिए। वह स्वतंत्र रूप से जो करे , उसे करने देना चाहिए।
खंड ख - व्यावहारिक व्याकरण
3. i. पेड़ों से पत्तियाँ एक-एक कर गिरने लगी।
ii. डिब्बेनुमा छोटे घरों में
iii. सर्वनाम पदबंध
iv. लकड़ी की बड़ी
v. संज्ञा पदबंध
4. i. पिताजी की इच्छा थी इसलिए मुझे छात्रावास जाना पड़ा।
ii. जैसे ही वह लड़का गाँव गया, वैसे ही वह बीमार हो गया। अथवा जो लड़का गाँव गया था, वह
बीमार हो गया।
iii. उसने अपने जो हाथ ऊपर उठाए वे ईश्वर से कु छ माँगने की मुद्रा में थे।
iv. गायें घास खा रही हैं और बकरियाँ भी घास खा रही हैं।
v. हरिहर काका ने ठाकु रबारी के महंत, पुजारी और साधुओं की काली करतूतों का पर्दाफ़ाश करना
शुरु किया।
5. i. चरणकमल - कमल के समान चरण (कर्मधारय समास)
ii. चिड़ीमार - चिड़ियों को मारने वाला (कर्म / द्वितीया तत्पुरुष), चिड़ियों को मारता है जो (कर्मधारय
समास)
iii. आत्मा पर विश्वास = आत्मविश्वास (अधिकरण तत्पुरुष समास)
iv. चक्र को धारण करने वाला = चक्रधर अर्थात् विष्णु जी (बहुब्रीहि समास)
v. नीला है जो गगन = नीलगगन (कर्मधारय समास)
6. i. जी-तोड़ मेहनत करना - परीक्षा में सफलता प्राप्त करने के लिए सपना ने जी-तोड़ मेहनत की।
ii. चैन की साँस लेना - काम पूरा होने पर सीमा ने चैन की साँस ली।
iii. नौ-दो ग्यारह होना - चोर चोरी कर नौ दो ग्यारह हो गया।
iv. घी के दिए जलाना - वह अपने बेटे की शादी में घी के दिए जलाना चाहता था।
v. आँख खुल जाना - जब महेश को रमेश की सच्चाई पता चली तो उसकी आँखें खुल गईं।
खंड ग - गद्य खंड (पाठ्यपुस्तक)
7. अनुच्छे द को ध्यानपूर्वक पढ़कर निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिये:
रावण भूमंडल का स्वामी था। ऐसे राजाओं को चक्रवर्ती कहते हैं। आजकल अंग्रेजों के राज्य का
विस्तार बहुत बढ़ा हुआ है, पर इन्हें चक्रवर्ती नहीं कह सकते। संसार में अनेक राष्ट्र अंग्रेजों का
आधिपत्य स्वीकार नहीं करते, बिलकु ल स्वाधीन हैं। रावण चक्रवर्ती राजा था, संसार के सभी महीप
उसे कर देते थे। बड़े-बड़े देवता उसकी गुलामी करते थे। आग और पानी के देवता भी उसके दास
थे, मगर उसका अंत क्या हुआ? घमंड ने उसका नाम-निशान तक मिटा दिया, कोई उसे एक चुल्लू
पानी देने वाला भी न बचा। आदमी और जो कु कर्म चाहे करे , पर अभिमान न करे , इतराये नहीं।
अभिमान किया और दीन-दुनिया दोनों से गया।
(i) (ख) भूमंडल का स्वामी
व्याख्या:
भूमंडल का स्वामी
(ii) (क) सभी विकल्प सही हैं
व्याख्या:
सभी विकल्प सही हैं
(iii)(ग) घमंड ने
व्याख्या:
घमंड ने
(iv)(क) सब कु छ नष्ट करना
व्याख्या:
सब कु छ नष्ट करना
(v) (ग) भाई साहब, लेखक को
व्याख्या:
भाई साहब, लेखक को
8. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में दीजिए:
(i) स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लेने वाले कलकत्तावासी देश-प्रेम और मरने-मारने की भावना को
अपने दिलों में सँजोए हुए थे। आंदोलन में हिस्सा न लेने का उनके माथे पर जो कलंक था वह उसे
मिटाना भी चाहते थे। इस आंदोलन का नेतृत्व खुद सुभाष चंद्र बोस कर रहे थे । जिससे उनका
उत्साह दुगुना हो गया था इसी कारण पुलिस की लाठी से चोट लगने, जेल जाने या किसी अन्य
व्यक्तिगत नुकसान का उन्हें भय नहीं था। इसलिए पुलिस द्वारा हर प्रकार का अत्याचार किए जाने
के बाद भी उनका उत्साह ठं डा नहीं पड़ रहा था।
(ii) "झेन की देन" पाठ में लेखक के मित्र द्वारा बताए गए मानसिक रोग के कारण आज की व्यस्त
और प्रतिस्पर्धात्मक जीवनशैली को स्पष्ट रूप से दर्शाते हैं। जीवन की रफ्तार का बढ़ना, अमेरिका
जैसी शक्तियों से प्रतिस्पर्धा करना, और काम को तेजी से पूरा करने का दबाव मानसिक तनाव
का मुख्य कारण बनता है। जब दिमाग को स्पीड का इंजन लगाकर उसे तेज़ दौड़ाया जाता है, तो
यह अंततः मानसिक तनाव और बीमारियों को जन्म देता है। ऐसी स्थिति में संतुलन और शांति की
आवश्यकता महत्वपूर्ण हो जाती है।
(iii)वजीर अली ने अफगानिस्तान के बादशाह को हिंदुस्तान पर आक्रमण करने के लिए बुलाया
क्योंकि वह उसकी मदद से अवध को जीतकर उसका नवाब बनना चाहता था । तत्पश्चात वह
अंग्रेजों को खदेड़कर हिन्दुस्तान को आजाद करना चाहता था । लेकिन अंग्रेजों के खिलाफ कम
लोगों के होने के कारण उसे अफ़ग़ानिस्तान के बादशाह को मदद के लिए बुलाना पड़ा ।
(iv)हिंदी फ़िल्म जगत की एक सार्थक और उद्देश्यपरक फ़िल्म है तीसरी कसम, जिसका निर्माण
प्रसिद्ध गीतकार शैलेंद्र ने किया। इस फ़िल्म में राजकपूर और वहीदा रहमान जैसे प्रसिद्ध सितारों
का सशक्त अभिनय था। अपने जमाने के मशहूर संगीतकार शंकर जयकिशन का संगीत था
जिनकी लोकप्रियता उस समय सातवें आसमान पर थी। फ़िल्म के प्रदर्शन के पहले ही इसके सभी
गीत लोकप्रिय हो चुके थे। इसके बाद भी इस महान फ़िल्म को कोई न तो खरीदने वाला था और
न इसके वितरक मिले। यह फ़िल्म कब आई और कब चली गई मालूम ही न पड़ा, इसलिए ऐसी
फ़िल्में बनाना जोखिमपूर्ण काम है।
खंड ग - काव्य खंड (पाठ्यपुस्तक)
9. अनुच्छे द को ध्यानपूर्वक पढ़कर निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर दीजिये:
'मनुष्य मात्र बंधु है' यही बड़ा विवेक है,
पुराणपुरुष स्वयंभू पिता प्रसिद्ध एक है।
फलानुसार कर्म के अवश्य बाह्य भेद हैं,
परं तु अंतरै क्य में प्रमाणभूत वेद हैं।
अनर्थ है कि बंधु ही न बंधु की व्यथा हरे ,
वही मनुष्य है कि जो मनुष्य के लिए मरे ।।
(i) (घ) मनुष्य मात्र को परस्पर भाई-बंधु समझना
व्याख्या:
मनुष्य मात्र को परस्पर भाई-बंधु समझना।
(ii) (ख) भाई का भाई से अलगाव
व्याख्या:
भाई का भाई से अलगाव
(iii)(ग) एक परमात्मा की संतान होने से
व्याख्या:
एक परमात्मा की संतान होने से
(iv)(ख) कर्मों की भिन्नता के कारण
व्याख्या:
कर्मों की भिन्नता के कारण
(v) (ग) भाई - बंधु
व्याख्या:
भाई - बंधु
10. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में दीजिए:
(i) मीरा श्रीकृ ष्ण को सम्बोधित करते हुए कहती हैं कि हे श्री कृ ष्ण! आप सदैव अपने भक्तों की पीड़ा
दू र करते हैं। आपने अपने कई भक्तों की मदद की हैं। प्रभु जिस प्रकार आपने द्रौपदी का वस्त्र
बढ़ाकर भरी सभा में उसकी लाज रखी, नरसिंह का रुप धारण करके हिरण्यकश्यप को मार कर
प्रह्लाद को बचाया, मगरमच्छ ने जब हाथी को अपने मुँह में ले लिया तो उसे बचाया और पीड़ा भी
हरी। हे प्रभु! इसी तरह मुझे भी हर संकट से बचाकर पीड़ा मुक्त करो। मीरा सांसारिक बंधनों से
मुक्ति के लिए भी विनती करती हैं।
(ii) 'सहस्र दृग-सुमन’ का अर्थ है-हजारों पुष्प रूपी आँखें। कवि ने इसका प्रयोग पर्वत पर खिले फू लों
के लिए किया है। पहाड़ पर उग आए पेड़ों पर असंख्य रं ग बिरं गे फू ल दिखाई देते हैं। ऐसा लगता
है कि पहाड़ की असंख्य आँखें हैं। पर्वत अपने नीचे फै ले तालाब रूपी दर्पण में फू ल रूपी नेत्रों के
माध्यम से अपने सौंदर्य को निहार रहा है। कवि ने इस पद का प्रयोग सजीव चित्रण करने के लिए
किया है। वर्षाकाल में पर्वतीय भाग में हजारों की संख्या में पुष्प खिले रहते हैं। ऐसा लगता है मानों
पर्वत अपने सुंदर नेत्रों से प्रकृ ति की छटा को निहार रहा है।
(iii)'फ़तह का जश्र इस जश्र के बाद है' कहकर कवि अन्य सैनिकों को बलिदान देने के लिए प्रेरित
करना चाहता है। उसका मानना है कि यदि देश रक्षा के कार्यों को अधूरा छोड़ दिया जाएगा, तो
शहीदों का बलिदान व्यर्थ हो जायेगा। अतः शहीदों के बाद अन्य सैनिकों को भी बहादुरी से
शत्रुओं के साथ तब तक लड़ना होगा, जब तक देश पूरी तरह सुरक्षित न हो जाए। जीत का उत्सव
हम तभी मना सकें गे, जब बलिदान का यह सिलसिला थम जायेगा।
(iv)प्रस्तुत पंक्तियों के माध्यम से कवि कहना चाहते हैं कि वे प्रभु से निवेदन करते हैं कि वे उन्हें सुख
के क्षणों में भी याद करें । दुः ख के क्षण में सभी ईश्वर को याद करते हैं, पर कवि चाहते हैं कि वे
सुख में भी अपना शीश झुकाकर ईश्वर का स्मरण करें ।
खंड ग - संचयन (पूरक पाठ्यपुस्तक)
11. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 50-60 शब्दों में दीजिए:
(i) हरिहर काका वृद्धों के प्रति संवेदनहीन होते समाज की कहानी नहीं है क्योंकि इस कहानी में
मतलबी रिश्ते दिखाए गए हैं जो कि एक जमीन जायदाद पर आधारित है। जब तक मतलब
निकल रहा है तब तक रिश्ते अच्छे हैं और जैसे मतलब खत्म साथ में रिस्ते भी खत्म हैं। इस
कहानी में समाज में मतलबी और धोखापन पहलुओं की ओर आकर्षित करती है, हमें यह देखने
को मिलता है, जीवन में रिश्ते के वल पैसों पर ही आधारित होते हैं। व्यक्ति को कभी भी अपनी
संपत्ति अपने जीते जी अपनी संतान के नाम नहीं करनी चाहिए।
(ii) "सपनों के -से दिन" पाठ के अनुसार, तब के स्कू ली बच्चों के पहनावे में साधापन और पारं परिकता
थी। लड़के आमतौर पर कु र्ता और पैंट पहनते थे, जबकि लड़कियाँ साड़ी या सलवार-कु र्ता
पहनती थीं। उनके खेल-कू द में भी सरलता थी; वे खुली जगहों पर खेलते थे, जैसे कि गिल्ली-डंडा,
कं चे, और काबड्डी।
आज के स्कू ली बच्चों के पहनावे में अधिक आधुनिकता और फै शन का समावेश है। वे जींस, टी-
शर्ट और खेल के कपड़े पहनते हैं। खेल-कू द की गतिविधियाँ भी बदल गई हैं, अब बच्चे क्रिके ट,
फु टबॉल और वीडियो गेम्स में रुचि रखते हैं।
यदि दोनों में तुलना की जाए, तो मैं तब के बच्चों के पहनावे और खेल-कू द को अधिक अच्छा
मानता हूँ। इसका कारण यह है कि तब के पहनावे में सहजता और पारं परिकता थी, जो बच्चों को
एकता और भारतीय संस्कृ ति से जोड़ती थी। खेलों में भी शारीरिक सक्रियता अधिक थी, जो
स्वास्थ्य के लिए लाभकारी होती थी।
हालांकि, आज के बच्चों का पहनावा और खेल-कू द आधुनिकता और विविधता को दर्शाता है,
लेकिन इसमें कभी-कभी स्वास्थ्य और सामाजिक संबंधों की कमी होती है। इसलिए, एक संतुलित
दृष्टिकोण अपनाना चाहिए, जिसमें पारं परिकता और आधुनिकता दोनों का समावेश हो।
(iii)सच्चा मित्र जीवन की अनुपम निधि होता है। वह जीवन के हर अच्छे -बुरे समय में साथ देता है,
विशेषकर विपत्ति के समय तो वह हमारा सहयोग एवं समर्थन सच्चे दिल से करता है। टोपी शुक्ला
तथा इफ़्फन भी सच्चे मित्र हैं। वे दोनों एक-दू सरे को धर्म, जाति, संप्रदाय आदि से ऊपर उठकर
प्रेम करते हैं। दोनों के बीच मित्रता इतनी गहरी है कि इफ़्फन के चले जाने पर टोपी स्वयं को
अत्यंत अके ला महसूस करता है। वह इफ़्फन तथा उसकी दादी को हृदय से चाहता था, इसीलिए
इफ़्फन के पिता के तबादले के कारण उसके चले जाने पर वह बहुत अधिक मायूस हो जाता है
और कसम खाता है कि अब वह ऐसे किसी लड़के से दोस्ती नहीं करे गा, जिसके पिता जी की
तबादले वाली नौकरी हो। इन दोनों की दोस्ती से सच्ची मित्रता की प्रेरणा ली जा सकती है।
खंड घ - रचनात्मक लेखन
12. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 120 शब्दों में अनुच्छे द लिखिये:
(i) आज़ादी का महत्व - स्वतंत्रता मनुष्य की स्वाभाविक वृत्ति है। स्वतंत्रता मनुष्य को ही नहीं बल्कि
जीव-जंतुओं तथा पक्षियों को भी प्रिय है। कहा भी गया है- पराधीन सपनेहुँ सुख नाहिं।
अंग्रेजों की गुलामी को भारतवासी कै से सहन कर सकते थे! वे इस गुलामी की जंजीरों को काटने
का अनवरत प्रयास करते रहे और अंततः 15 अगस्त, 1947 को शताब्दियों से खोई स्वतंत्रता हमें
पुनः प्राप्त हो गई। इस दिन को हम 'स्वतंत्रता दिवस' के रूप में मनाने लगे।
पूर्ण आज़ादी से तात्पर्य - हमें यह आज़ादी अनेक बलिदानों के पश्चात् प्राप्त हुई है। परन्तु यह
अभी पूर्ण आज़ादी नहीं है। हम आज भी मानसिक तौर पर गुलाम हैं। हमें इस स्वतंत्रता की रक्षा
के लिए सदैव सजग रहना चाहिए। स्वार्थवश कोई ऐसा कार्य न करें , जिससे भारत कलंकित हो
अथवा इसकी स्वतंत्रता को कोई हानि पहुँचे।
आज़ादी की सुरक्षा कै से?- भारतीयों को न सिर्फ बाहरी ताकतों से अपितु देश के भीतर छिपे
गद्दारों से भी सावधान रहने की आवश्यकता है। इसके लिए हमें सभी को देशभक्ति की भावना
को जाग्रत करना होगा। अपने अधिकारों के साथ अपने कर्तव्यों का भी पालन करना होगा।
अपनी कानून व्यवस्था को दुरुस्त करना होगा, तभी हम अपनी आज़ादी को सुरक्षित रख पायेंगे।
(ii) सौर ऊर्जा, सूर्य की किरणों से प्राप्त ऊर्जा है, जो स्वच्छ और नवीकरणीय स्त्रोत के रूप में उभरी
है। यह ऊर्जा स्रोत पर्यावरणीय दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह जलवायु परिवर्तन को
कम करने में सहायक होती है। भारत जैसे देश के लिए, जहाँ सौर ऊर्जा की प्रचुरता है, यह ऊर्जा
संकट के समाधान में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। सौर ऊर्जा का उपयोग करने से
पारं परिक ऊर्जा स्त्रोतों पर निर्भरता कम होती है, जो वायुमंडल में प्रदू षण की मात्रा घटाने में मदद
करता है। इसके अलावा, सौर ऊर्जा की लागत कम होने से ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली पहुँचाने में भी
सहायता मिलती है। इस प्रकार, सौर ऊर्जा न के वल पर्यावरण की रक्षा करती है, बल्कि आर्थिक
और सामाजिक विकास में भी योगदान देती है।
(iii) जैविक (ऑर्गेनिक) खेती : एक कदम प्रकृ ति की ओर
भारत एक कृ षि प्रधान देश है। जहाँ की अधिकतर संख्या खेती से अपनी आजीविका चलाती है।
भारत देश में की गई हरित क्रांति भी, कृ षि क्षेत्र में उन्नति के लिए शुरू किया एक अभियान रहा।
भारत के ग्रामीण क्षेत्रों में आज भी एक पारं परिक खेती की जाती हैं, जिसे जैविक खेती/ऑर्गेनिक
फार्मिंग कहा जाता है। जैविक खेती के लाभ बहुयामी हैं। इसका प्रत्यक्ष तथा अप्रत्यक्ष रूप से लाभ
कृ षकों को प्राप्त होता है। किसान के स्वास्थ्य तथा पर्यावरण के साथ ही किसान की भूमि को लाभ
होता है। जैविक खेती करने से किसानों को आर्थिक लाभ भी प्राप्त होता है। आज के समय में
रासायनिक उर्वरकों तथा कीटनाशकों की कीमतें अधिक बढ़ चुकी है। ऐसे में किसान इन
रासायनिक खेती करने के लिए किसान अधिक ऋण ग्रस्त हो जाते हैं।
लेकिन रासायनिक खाद के स्थान पर जब पेड़ पौधे, पशुओं के अवशेषों से निर्मित जैविक खाद
का प्रयोग खेती में किया जाता है। तब खेती की उर्वरता में बढ़ोतरी होती है। जैविक खेती द्वारा
उत्पन्न खाद पदार्थ शुद्ध पौष्टिक तथा पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं। जैविक खेती काफी सरल
प्रक्रिया है क्योंकि इसमें रासायनिक उर्वरकों, संकर बीजों आदि का खर्चा नहीं होता है। जैविक
खेती पारिस्थितिकी के अनुकू ल होती है इसलिए इससे पर्यावरण को कोई हानि नहीं पहुँचती।
अपेक्षाकृ त उत्पादन की अधिकता और बीमारियों की कमी से किसानों को लाभ होता है। विदेश
में मांग होने के कारण इसका एक अच्छा निर्यात संभव हो पाता है। कें द्र सरकार की ओर से 2015
में मिशन ऑर्गेनिक वैल्यू चेन डेवलपमेंट फॉर नॉर्थ ईस्ट रीजन योजना को पूर्वोत्तर क्षेत्रों में शुरू
किया गया। एक जिला-एक उत्पादन के नाम से जिला स्तर पर जैविक खेती को बढ़ावा देने की
शुरुआत की गई। 2015 में शुरू की गई परं परागत कृ षि विकास योजना राष्ट्रीय सतत कृ षि मिशन
(National Mission for Sustainable Agriculture) के अन्तर्गत जारी एक उप मिशन ‘मृदा
स्वास्थ्य प्रबंधन’ का एक घटक है। व र्तमान परिस्थितियों को देखते हुए यह कहना अतिशयोक्ति
नहीं होगी कि यदि मानव को धरती पर अपना अस्तित्व लंबे समय तक बनाए रखना है तो उसे
जैविक खेती को अपनाना अनिवार्य है। आधुनिक समय में खेती में होने वाले रासायनिक प्रयोगों ने
ना सिर्फ मानव को बल्कि प्रकृ ति को भी काफी नुकसान पहुँचाने का काम किया है। स्वास्थ्य तथा
पर्यावरण को प्रभावित करने वाली खेती को छोड़कर स्वास्थ्यवर्धक तथा पर्यावरण रक्षक जैविक
खेती को अपनाना मानव की आवश्यकता बन गयी है।
13. सेवा में,
श्रीमान स्वास्थ्य अधिकारी,
कृ ष्ण नगर, दिल्ली।
विषय: कीटनाशक और नकली रं गों से मुक्त सब्ज़ी और फल उपलब्ध कराने हेतु अनुरोध
महोदय,
मैं, कमलेश, कृ ष्ण नगर का निवासी हूँ। मैं आपका ध्यान शहर की मंडियों में बिकने वाली सब्ज़ी और
फलों की गुणवत्ता की ओर आकर्षित करना चाहता हूँ।
पिछले कु छ समय से, यह देखा जा रहा है कि बाजार में बिकने वाली सब्ज़ी और फलों में अत्यधिक
मात्रा में कीटनाशकों और नकली रं गों का इस्तेमाल किया जा रहा है। यह हमारे स्वास्थ्य के लिए
बहुत हानिकारक है।
इसलिए, मैं आपसे विनम्रतापूर्वक अनुरोध करता हूँ कि मंडियों में पर्याप्त जाँच की व्यवस्था स्थापित
की जाए, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि के वल सुरक्षित और स्वस्थ सब्ज़ी और फल ही लोगों
तक पहुंच सके । इसके लिए हम आपके आभारी रहेंगे।
आपकी त्वरित कार्यवाही की आशा है।
धन्यवाद।
दिनांक -
प्रार्थी
कमलेश,
कृ ष्ण नगर, दिल्ली।
अथवा
सेवा में,
श्रीमान संपादक महोदय,
नया सवेरा, रायपुर (छ.ग.)।
विषय- यातायात-जाम से छु टकारा पाने के सुझाव हेतु पत्र।
महाशय,
मेरा नाम आसिफ़ है। मैं रायपुर (छ.ग.) का रहने वाला हूँ। सादर निवेदन यह है कि इन दिनों रायपुर
में सड़क दुर्घटनाओं की अधिकता हो गई है। वाहन चालक यातायात के नियमों का ख़ूब उल्लंघन
कर रहे हैं। बिना हैलमेट के स्कू टर चलाना, दो के स्थान पर चार-चार लोगों को बिठाना, लाल बत्ती
होते हुए भी नहीं रुकना इत्यादि घटनाओं के बावजूद भी यातायात पुलिस मूकदर्शक बनी रहती है।
मैं एक ज़िम्मेदार नागरिक का फ़र्ज़ निभाते हुए आपके लोकप्रिय समाचार-पत्र के माध्यम से
यातायात-जाम से छु टकारा पाने के कु छ सुझाव देना चाहता हूं।
मेरा मानना है कि सतर्क ता ज़रूरी है। बिना स्वार्थ के चालान काटे जाएँ , प्यार वह सख्ती दोनों से
काम लिया जा सकता है। यदि पुलिस प्रशासन चाहे तो यह समस्या जल्द ही दू र हो सकती है। यदि
विभाग में पुलिस कर्मियों की कमी है, तो कॉलेज के युवाओं को अपने साथ जोड़ा जा सकता है।
इससे लोगों पर प्रभाव भी पड़ेगा और युवाओं में सही राह पर चलने का जोश भी आएगा। ‘यातायात
जागरूकता सप्ताह’ शुरू करने से भी इस दिशा में बहुत बदलाव आ सकता है। ऐसा करने से लोग
यातायात के नियमों से परिचित हो सकें गे।
अतः मुझे विश्वास है कि आप अपने समाचार पत्र में मेरे सुझाव रूपी पत्र को प्रकाशित कर लोगों का
ध्यान यातायात नियमों की तरफ़ खींचने का उल्लेखनीय व सराहनीय काम करें गे। ताकि यातायात
संबंधी दुर्घटनाओं से काफ़ी हद तक बचा जा सके । इस कार्य हेतु मैं सदा आपका आभारी रहूंगा।
सधन्यवाद!
भवदीय
आसिफ़
रायपुर (छ.ग.)
5 जून, 2024
विद्यामंदिर विद्यालय
सरोजिनी नगर, आगरा, उ.प्र.
सूचना
दिनांक: 28 सितम्बर 2023
फु टबॉल प्रशिक्षण शिविर
मेरा नाम भूपेंद्र नौटियाल है और मैं अनुग्रह माध्यमिक विद्यालय जालंधर की खेल सचिव हूँ। हमारे
विद्यालय में एक फु टबाल प्रशिक्षण शिविर आयोजित होने जा रहा है। यह शिविर में हम विद्यार्थियों
को फु टबाल खेल के नए तकनीकों, टैक्टिक्स, सामरिक योजनाओं और स्पोर्ट्समैनशिप के बारे में
प्रशिक्षण देंगे। इस शिविर का आयोजन माह में होने वाला है और सभी इच्छु क छात्र इसमें हिस्सा ले
सकते हैं। इसके बारे में अधिक जानकारी के लिए विद्यालय की वेबसाइट या अध्यापकों से संपर्क
करें ।
खेल सचिव
14. भूपेंद्र नौटियाल
अथवा
डीएवी पब्लिक स्कू ल, गांधीनगर, रायपुर
सूचना
8 जून, 2024
स्कू ल बस में बैग छू ट जाने के संबंध में
प्रिय विद्यालय प्रबंधन एवं सहपाठियों, कल दिनांक- 7 जून, 2024 को जब मैं रूट नंबर- 47, बस
नंबर-2 से घर वापस हो रहा था, तब मेरा बैग बस में ही छू ट गया। मेरे बैग का रं ग नीला है और
उसमें एक काले रं ग का वॉटर बॉटल है। बैग में कु छ पुस्तकों और कॉपियों के अलावा कु छ
व्यक्तिगत सामग्री भी है। यदि किसी को तह बैग मिले तो कृ पया मुझे लौटने का कष्ट करें । मैं सदा
आपका आभारी रहूँगा।
धन्यवाद
तनमय गुप्ता
कक्षा- 9वीं
डीएवी पब्लिक स्कू ल, गांधीनगर, रायपुर
विज्ञापन
जीनियस पब्लिक स्कू ल
ज्ञान के साथ-साथ संस्कार देना हमारा कर्तव्य
(नए सत्र-2024-25 के लिए प्रवेश प्रारं भ)
मिलने वाली सुविधाएं :-
स्थानीय बच्चों को दाखिले में विशेष छू ट,
गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पद्धति पर आधारित गतिविधियाँ,
प्रशिक्षित शिक्षकों के द्वारा शिक्षण कार्य,
अनुकू ल वातावरण एवं सीसीटीवी कै मरा युक्त कैं पस, एक बड़ा खेल का मैदान, वाहन सुविधा
15. इत्यादि।
अथवा
हैलो किसान !
"पवन ऑर्गेनिक फार्मिंग प्राइवेट लिमिटेड"
लेकर आया है आपके लिए फलों एवं सब्जियों की जैविक खेती का उपहार…।
स्वस्थ जीवन का पहला कदम!
हमारी जैविक फल-सब्जियाँ, बिना किसी रसायन के , ताजगी और स्वाद से भरपूर।
अपने परिवार के लिए चुनें शुद्धता और गुणवत्ता।
आज ही आज़माएं और स्वास्थ्य को अपनाएं ।
"अब मिलेगी हानिकारक रसायनों से मुक्ति"
ऑर्डर करें : पवन ऑर्गेनिक फार्मिंग प्राइवेट लिमिटेड
7854654524211432131653
16. प्रेषक(From) – xyz@[Link]
प्रेषकर्ता (To) – abc@[Link]
विषय: विद्युत आपूर्ति में सुधार के लिए धन्यवाद
माननीय महानिदेशक महोदय,
नमस्ते!
मैं काव्या / महेश, आपके क्षेत्र का निवासी/निवासी, आपको सूचित करना चाहता/चाहती हूँ कि
विद्युत आपूर्ति में हाल ही में बहुत सुधार हुआ है। पहले अनियमित आपूर्ति की समस्या रहती थी,
लेकिन अब नियमित और स्थिर आपूर्ति मिल रही है। इस सुधार के लिए हम आपके और आपके
विभाग के प्रयासों के प्रति आभारी हैं। कृ पया इसे जारी रखने की कृ पा करें ताकि हमें इसी तरह की
सेवाएँ मिलती रहें।
धन्यवाद।
सादर,
काव्या / महेश
अथवा
यदि मैं पुस्तक होती
गरिमा को स्कू ल में सभी पढ़ाकू कहते और उसका मजाक उड़ाते, उसका हाथ कभी भी पुस्तक से
खाली नहींं होता कक्षा में, घर में, बस में हमेशा कोई न कोई पुस्तक उसके हाथ में जरूर होती
सारांश यह कि पुस्तक ही उसकी सबसे अच्छी दोस्त थी। दफ्तर से लौटे हुए उसके पिताजी ने बताया
कि प्रगति मैदान में पुस्तक मेला लगा है और वे उसे कल वहाँ ले जायेंगे। गरिमा के मन में खुशी के
लड्डू फू ट रहे थे।
दू सरे दिन मेले से घूमकर लौटते हुए गरिमा सोच रही थी कि यदि मैं पुस्तक होती तो कितना मजा
आता उसमें तरह-तरह की ज्ञान-विज्ञान की बातें होती, लोग चाव से पुस्तकें खरीदते अपनी अलमारी
में सजाते और मजे लेकर पढ़ते। शायद ही ऐसा कोई विषय हो जिनको इन पुस्तकों ने स्थान न दिया
हो, पौराणिक काल से लेकर आज तक कु छ भी इन पुस्तकों से अछू ता नहीं रहा किं तु आज उनका
स्वरूप बदल गया है आज हम चुटकी बजाते ही मोबाइल, कम्प्यूटर पर अपनी मनपसंद पुस्तकें
चुनकर पढ़ लेते हैं। तभी घर आ गया उसके हाथ में पुस्तक मेले से चुन-चुनकर खरीदी गई पुस्तकों
से भरा बड़ा-सा थैला था और उसे अपने कमरे में उन्हें रखने के लिए जगह बनानी थी।